चौथे दिन देर रात टंकी से उतरे किसान और महिलाएं

भाकियू नेता राकेश टिकैत की मध्यस्थता में हुई किसानों और प्रशासन के बीच पंचायत

कमिश्नर के साथ वार्ता का मिला आश्वासन, भाजपा विधायक भी पहुंचे

Meerut। 'पूर्व डीएम पंकज यादव ने जिस तरह शताब्दीनगर के किसानों का हमदर्द बनकर उनके पक्ष में फैसला दिया था, उसी तरह आप भी दिल बड़ा करें और अन्नदाता को राहत दें.' भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने डीएम अनिल ढींगरा से कहा कि किसानों की समस्या को सकारात्मक रुख के साथ सरकार तक पहुंचाएं। किसान नेता की मध्यस्थता के बाद मंगलवार को चौथे दिन देर रात किसान और महिलाएं टंकी से उतरे। मध्यस्थता में तय हुआ कि आगामी 6 जून को कमिश्नर डॉ। प्रभात कुमार की मौजूदगी में मसौदा तैयार कर सरकार को भेजा जाएगा।

डीएम-एसएसपी पहुंचे

पिछले 4 दिनों से टंकी पर चढ़े किसान और महिलाओं की सुध लेने आखिर मंगलवार को पुलिस-प्रशासन को आना ही पड़ा। शाम 4 बजे एमडीए सिटी मुकेश चंद्र, एसपी सिटी रणविजय सिंह, सिटी मजिस्ट्रेट शैलेंद्र कुमार समेत ब्रह्मापुरी, टीपी नगर और परतापुर थानों की पुलिस शताब्दीनगर स्थित धरनास्थल पहुंची। यहां मुआवजे की मांग को लेकर पिछले 4 सालों से धरना दे रहे और 15 दिनों से अनशन पर बैठे किसान नेता विजयपाल घोपला के साथ बातचीत में तय हुआ कि डीएम-एसएसपी की मौजूदगी में समस्या के समाधान को लेकर ठोस प्रस्ताव बनाया जाए। इसके बाद ही आंदोलन समाप्त होगा। वहीं दूसरी ओर भाकियू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत भी शाम करीब 5 बजे धरनास्थल पर पहुंच गए। किसानों की आवाज को बुलंद करते हुए भाकियू नेता ने टंकी पर चढ़कर महिलाओं और किसानों से बात की। वे उस समय दंग रह गए जब कुछ किसानों के हाथ में उन्होंने केरोसीन की बोतल देखी। समस्या समाधान का आश्वासन देकर वे टंकी से नीचे उतर आए।

1 घंटे चली पंचायत

राकेश टिकैत की मौजूदगी में सैंकड़ों किसानों और पुलिस-प्रशासन के बीच करीब 1 घंटे तक पंचायत चली। किसान नेता विजयपाल ने डीएम अनिल ढींगरा और एसएसपी राजेश कुमार पांडेय को पूरे घटनाक्रम की जानकारी देते हुए बताया कि पूर्व में डीएम पंकज यादव और खुद एमडीए अफसर यह स्वीकार चुके हैं कि कानूनन शताब्दीनगर योजना के गांव जैनपुर और घोपला की 640 एकड़ जमीन पर एमडीए का कब्जा नहीं है। अधिग्रहण की शर्तो के मुताबिक प्राधिकरण कब्जा न ले पाने की स्थिति में जमीन से अपना दखल हटाए या नई अधिग्रहण नीति की तहत किसानों को मुआवजा दे। विधायक सोमेंद्र तोमर ने मुद्दे को सरकार के समक्ष रखने का आश्वसन दिया। तय हुआ कि कमिश्नर एवं एमडीए के अध्यक्ष डॉ। प्रभात कुमार की अध्यक्षता में 6 जून को एक बैठक होगी। जिसमें किसानों के अलावा एमडीए और प्रशासन के अफसर मौजूद होंगे। शताब्दीनगर के किसानों के हित में साझा मसौदा तैयार कर सरकार को भेजा जाएगा। विधायक समेत जनप्रतिनिधि सरकार में इस मसौदे की पैरवी करेंगे और किसानों को उनका हक दिलाएंगे। किसान नेता संजय दौरालिया, बाबा ईलम सिंह आदि इस दौरान मौजूद थे।

कुछ इस तरह चला आंदोलन

19 मई

एक सप्ताह से अनशन पर बैठे किसान नेता विजयपाल घोपला के आंदोलन को अनसुना करने के विरोध में 18 किसान और महिलाएं समीप स्थित टंकी पर चढ़ीं। पुलिसबल मौके पर पहुंचा।

20 मई

एमडीए अथवा प्रशासन की ओर से सकारात्मक प्रयास न होने पर महिलाएं और किसान टंकी पर जमे। इस दौरान एक महिला की तबियत बिगड़ी। प्रशासनिक अफसर और एमडीए तहसीलदार मौके पर पहुंचे। भाजपा विधायक सोमेंद्र तोमर ने किसानों महिलाओं को समझाया लेकिन नहीं बनी बात।

21 मई

कमिश्नर-डीएम को धरनास्थल पर बुलाने के लिए अड़े किसानों का आंदोलन जारी रहा। इस दौरान कई महिलाओं का स्वास्थ्य बिगड़ा। भाकियू नेता भी टंकी पर चढे।

22 मई

भाकियू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत की मौजूदगी में डीएम-एसएसपी के समक्ष पंचायत हुई। देर रात्रि किसानों का धरना समाप्त हुआ। सभी ने किसान नेता विजयपाल घोपला को पिलाया जूस। किसान नेता समरपाल सिंह और महिला बीमार, अस्पताल में कराया भर्ती।