-यूपी बोर्ड को वेरीफिकेशन के लिए भेजे गए थे 463 अभ्यर्थियों के अंकपत्र व प्रमाणपत्र

-जांच के बाद हाईस्कूल के 29 व इंटरमीडिएट के 30 सर्टिफिकेट मिले फर्जी

VARANASI

पुलिस डिपार्टमेंट के 59 कर्मियों के हाईस्कूल व इंटरमीडिएट के सर्टिफिकेट जाली मिले हैं। इनमें हाईस्कूल के 29 व इंटरमीडिएट के 30 प्रमाणपत्र शामिल हैं। सत्यापन कर यूपी बोर्ड के क्षेत्रीय कार्यालय वाराणसी ने रिपोर्ट उप्र पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड को भेज दिया है। ऐसे में इन पुलिस कर्मियों की नौकरी हाथ से जानी तय है।

2015 में भर्ती, 2018 में रिजल्ट

उप्र पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड द्वारा 34,716 पुलिस सिपाहियों की भर्ती प्रक्रिया 2015 में ही शुरू हुई थी। इसका रिजल्ट मई 2018 में जारी किया गया। अब बोर्ड इन चयनित अभ्यर्थियों के अंकपत्रों व प्रमाणपत्रों का सत्यापन करा रहा है। इस क्रम में भर्ती बोर्ड ने 463 अभ्यर्थियों का अंकपत्र व प्रमाणपत्र सत्यापित कराने के लिए पिछले दिनों यूपी बोर्ड के क्षेत्रीय कार्यालय भेजा था। इसमें से 59 अभ्यर्थियों के प्रमाणपत्र फर्जी मिले हैं। वेरीफिकेशन के दौरान संबंधित अनुक्रमांक पर दूसरे परीक्षार्थी का नाम मिला है। वहीं कुछ अभ्यर्थियों ने मनमाने तरीके से अंकपत्रों पर अंक बढ़ा दिया है। नौकरी पाने की लालच में 297 अंक पाने वाले अभ्यर्थी ने फर्जी तरीके से बढ़ा कर 500 अंक कर दिया है। वहीं कुछ के प्रमाणपत्र पूर्णत: फर्जी मिले हैं।

2003 से मार्कशीट ऑनलाइन

यूपी बोर्ड ने वर्ष 2003 से अंकपत्र व प्रमाणपत्र ऑनलाइन कर दिया है। ज्यादातर अभ्यर्थियों के प्रमाणपत्रों को पुलिस भर्ती बोर्ड ने ऑनलाइन ही सत्यापित कर लिया था। जिन प्रमाणपत्रों पर बोर्ड को संदेह था। उन्हीं अभ्यर्थियों के प्रमाणपत्र पुलिस भर्ती बोर्ड ने यूपी बोर्ड को भेजा था।

पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड ने 463 अभ्यर्थियों का अंकपत्र व प्रमाणपत्र सत्यापन के लिए भेजा था। सभी सर्टिफिकेट का टेबुलेशन रजिस्टर से मिलान कर रिपोर्ट भर्ती बोर्ड को भेज दिया गया है।

सतीश सिंह, अपर सचिव,

यूपी बोर्ड क्षेत्रीय कार्यालय