- नवंबर मंथ तक कोर्स पूरा करने के निर्देश

- तीन मंथ स्टूडेंट्स को मिलेगा दोहराने का मौका

LUCKNOW: सीबीएसई और आईएससीई बोर्ड से अब यूपी बोर्ड ने भी मुकाबला करने की पुख्ता तैयारी कर ली है। इसके तहत यूपी बोर्ड भी समय प्रबंधन को विशेष महत्व देने जा रहा है। नए सेशन ख्0क्ब्-क्भ् शुरू होने से पहले ही माध्यमिक शिक्षा परिषद (यूपी बोर्ड) ने कोर्स नियत समय में पूरा करने के लिए एक नया तरीका निकाला है। इसके तहत यूपी बोर्ड से मान्यता प्राप्त सभी प्रिसिंपल को निर्देश दिए गए हैं कि यूपी बोर्ड का कोर्स हर हाल में नवंबर माह तक पूरा करा लिया जाए ताकि बाकी बचे मंथ में स्टूडेंट्स को कोर्स रिवाइज करने का मौका मिल सके।

यूपी बोर्ड स्कूलों को देगा टाइम टेबल

माध्यमिक शिक्षा परिषद इस सेशन से क्लास छह से बारह तक विषयवार और मंथ वाइस कोर्स का विभाजन कर अपना टाइम टेबल सभी स्कूलों को भेजेगा। जिसमें सभी को जुलाई में कितना कोर्स समाप्त करना, अगस्त में कितना कोर्स समाप्त करना, ऐसे ही हर मंथ वाइज कोर्स पूरा करने की जानकारी दी गई होगी। इस संबंध में डीआईओएस पीसी यादव ने बताया कि जल्द ही प्रिसिंपल के साथ बैठक इस पर अमल किया जाएगा। उन्होंने बताया कि जुलाई से लेकर फरवरी तक कोर्स का विभाजन कर लिया जाए ताकि योजनाबद्ध तरीके से हाईस्कूल और इंटरमीडिएट के स्टूडेंट्स का कोर्स नवंबर तक पूर्ण किया जा सके। इसके बाद जनवरी-फरवरी में कोर्स रिवाइज करने का मौका मिल सके। साथ ही प्रैक्टिकल एग्जाम भी आसानी से कराएं जा सके। डीआईओएस ने बताया कि क् से क्भ् दिसंबर तक हाफ इयर्ली एग्जाम आयोजित किया जाएगा।

पूरे प्रदेश में होगा लागू

डीआईओएस पीसी यादव ने बताया कि निदेशालय के आदेश अनुसार क्लास नौ और दस में सभी सब्जेक्ट की आंतरिक मूल्यांकन परीक्षा अगस्त, अक्टूबर और दिसंबर मंथ के लास्ट वीक आयोजित की जाएगी। इसमें प्राप्त क्0-क्0 मॉ‌र्क्स मेन एग्जाम में जोड़ कर दिए जाएंगे। जबकि कक्षा क्क् में सभी सब्जेक्ट की लिखित एग्जाम अगस्त, सितंबर, अक्टूबर, नवंबर, दिसंबर और जनवरी-फरवरी माह में होंगी। उन्होंने बताया कि यह कोर्स का विभाजन की नीति निदेशालय की ओर से पूरे स्टेट में लागू किया जाना है। जिसका गवर्नमेंट की ओर से भी हरी झंडी मिल चुकी है।

क्ख् साल पहले मैंने यह व्यवस्था राजकीय जुबली इंटर कॉलेज में शुरू की थी, जिसे अब शासन की ओर से मंजूरी मिली है। इस प्रक्रिया को एक बुक्स का रूप दिया जा रहा है, जो सभी स्कूलों को भेजा जाएगा।

- पीसी यादव,

डीआईओएस, लखनऊ