-भारी मात्रा में वन्य जीव का मीट बरामद होने से आशंका पर बैठी जांच

-मेरठ के नामचीन होटल संचालक और स्लॉटर हाउस मालिकों से जुड़े हैं तार

आई इनवेस्टीगेशन

अखिल कुमार

मेरठ: वाइल्ड एनीमल मीट एक्सपोर्टर भी है प्रशांत बिश्नोई। छापेमारी में डीआरआई की टीम को प्रशांत के घर से बड़े फ्रीजर में 45 पैकेटों में करीब 117 किलो वाइल्ड एनीमल का मीट बरामद हुआ है। घर में रखा फ्रीजर भी कॉमर्शियल निकला, जिसे पुलिस ने जब्त कर लिया है। फ्रीजर में -8 डिग्री से -23 डिग्री तक मीट को प्रिजर्व किया जा रहा था। जांच एजेंसियों का दावा है कि ये मीट कॉमर्शियली यूज के लिए था।

बेशकीमती है वाइल्ड एनीमल का मीट

वन विभाग का दावा है कि वाइल्ड एनीमल का मीट बेशकीमती है। सूत्रों का यह भी कहना है कि पूर्व सरकार में मेरठ के एक कबीना मंत्री के साथ प्रशांत की नजदीकी थी तो वहीं कई होटलों में वाइल्ड एनीमल मीट पार्टी का आयोजन प्रशांत के हवाले था। इस पार्टीज में वाइल्ड एनीमल का मीट सप्लाई करने का काम नेशनल शूटर कर रहा था। मेरठ के कई पालिटिकल लीडर्स और रसूखदार लागों के लिए 'बटेर' पार्टी का आयोजन प्रशांत कर चुका है।

एक्सपोर्ट भी होता है मीट

वन विभाग ने दावा किया है कि है बरामद मीट तेंदुए से लेकर विभिन्न संरक्षित प्रजातियों के वन्य जीवों का हो सकता है। चर्चा है कि यह मांस तो सिर्फ सैंपल है, मीट का भारी स्टॉक किसी अन्य स्थान पर छिपाया गया है। उधर, आरोपी की फेसबुक प्रोफाइल पर नजर डालें तो शहर के कई नामचीन होटल संचालक और प्रभावशाली लोगों के अलावा देश-विदेश यहां तक कि गल्फ कंट्रीज और पाकिस्तान के लोग उसकी फ्रेंड लिस्ट में हैं। चर्चाएं हैं कि आरोपी स्लॉटर हाउस को भी मीट की सप्लाई देता था, जहां से मीट विदेशों में स्पेशल टैग लगाकर एक्सपोर्ट होता है। प्रतिबंधित वन्य जीवों के मीट की तस्करी के लिए प्रशांत जिस कार का प्रयोग करता था, पुलिस को वो भी घर पर खड़ी मिली। इस स्पेशल कार में फ्रीजर लगा है, जिससे मीट ट्रांसपोर्टेशन के दौरान खराब नहीं होता था। जंगल में शिकार के बाद जानवर के मीट को ऐसी गाडि़यों के फ्रिजर में डालकर लाया जाता था।

हस्तिनापुर सेंचुरी पर था कब्जा

पिछले दिनों हस्तिनापुर सेंचुरी में माइग्रेटेड बडर््स का शिकार करने वाले एक गिरोह को वन विभाग की टीम ने पकड़ा था। डब्ल्यूसीसीबी के रीजनल वालंटियर रमन त्यागी की निशानदेही पर वन विभाग ने पुलिस के साथ 7 बंगाली शिकारी पकड़े थे। माइग्रेटेड बडर््स का शिकार करने के लिए खासकर बंगाल से आने वाले ये गिरोह प्रशांत के संपर्क में थे। परते उघड़ी तो निकलकर आया कि प्रशांत दुर्लभ पक्षियों का मीट इन शिकारियों से खरीदता था। प्रशांत की चहलकदमी के निशान हस्तिनापुर सेंचुरी में मिलने से वन विभाग में खामोशी छाई है। विभागीय की मिलीभगत की आशंकाओं से इनकार नहीं किया जा सकता है। खासकर शिकार के लिए मारे गए चिकारा और सांभर प्रजाति के हिरन हस्तिनापुर सेंचुरी में बहुतायत में हैं।

जिम कार्बेट से लाया तेंदुए की खाल

आनन-फानन में अलर्ट के बाद वन विभाग और खुफिया एजेंसियां सक्रिय हुई तो निकलकर आया कि कोठी से बरामद हुई तेंदुए की खाल जिम कार्बेट के जंगल से शिकार करके लाया था। हालांकि पिता देवेंद्र विश्नोई का कहना है कि ये मीट नीलगाय का है जो प्रशांत बिहार सरकार के बुलावे पर बिहार से लेकर आया है। कर्नल के घर पर 5 विदेशी नस्ल के कुत्ते छापेमारी के दौरान मिले।

सेक्स वर्धक दवाएं बनती हैं

मेरठ में बड़े पैमाने पर वाइल्ड एनीमल के आर्टिकल की तस्करी के खुलासे के बाद संभावनाएं सिर उठा रही हैं। वन विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि खासकर टाइगर की हड्डियों और राइनो के सींग से सेक्स वर्धक दवाएं बनाई जाती हैं। विदेशों में इन दवाओं का प्रचलन है तो मैन्युफैक्चरिंग के लिए मैटेरियल इंडिया प्रोवाइड करता है। शोकेस ऑर्टिकल के अलावा बरामद वाइल्ड एनीमल स्कल्स को दवाओं के निर्माण में प्रयोग किया जा रहा था।

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वाइल्ड एनीमल्स की तस्करी विश्व में दूसरे नंबर पर है। मेरठ में हुई छापेमारी में बरामद वाइल्ड एनीमल आर्टिकल ने कई संभावनाओं को जन्म दिया है। हस्तिनापुर सेंचुरी समेत वेस्ट यूपी के विभिन्न हिस्सों से इनपुट जुटाए जा रहे हैं।

-मुकेश कुमार, चीफ कन्जरवेटर, वेस्ट यूपी