अधिकारियों का कहना है कि सांता एना की इस महिला ने फ़ेसबुक पर अपनी बहन से मुलाक़ात के बाद पुलिस से संपर्क किया.

पच्चीस साल की इस महिला को पंद्रह वर्ष की उम्र में अग़वा किया गया था.

पुलिस ने मंगलवार को 41 वर्षीय इसिद्रो गार्सिया को अपहरण, बलात्कार और क़ैद में रखने के आरोपों में हिरासत में लिया है.

पुलिस का कहना है कि कि गार्सिया लड़की के ग़ायब होने के वक़्त महिला के परिवार के साथ ही रह रहा था.

पुलिस के बयान के मुताबिक़ 2004 में गार्सिया के संबंध पीड़िता की माँ के साथ थे और वो उन्हीं के साथ रह रहे थे.

'नशा देकर ले गया'

पुलिस के मुताबिक गार्सिया ने जून 2004 से ही पीड़िता का यौन शोषण शुरू किया. दो महीने बाद उन्होंने पीड़िता के माँ पर हमला किया और पीड़िता को नशा देकर अपने साथ क़रीब चालीस किलोमीटर दूर ले गया. यहाँ लड़की को एक गैराज में बंद करके रखा गया.

अगले कुछ महीनों तक वह लड़की से कहता रहा कि उनके परिवार ने उनकी तलाश ख़त्म कर दी है और अगर वो वापस अपने परिवार के पास जाती हो तो उनके परिवार को देश निकाला दे दिया जाएगा. पुलिस के मुताबिक गार्सिया ने लड़की को फ़र्ज़ी पहचान पत्र भी दिए थे.

पुलिस से बचने के लिए दोनों ने कई बार स्थान बदले. इस दौरान गार्सिया ने लगातार लड़की का शारीरिक शोषण किया और कई बार उनके साथ मारपीट भी की.

पुलिस के मुताबिक लड़की के पास भागने के कई मौक़े थे लेकिन फिर भी वो गार्सिया के साथ रहकर शारीरिक और मानसिक शोषण झेलती रही. 2007 में गार्सिया ने लड़की को शादी करने के लिए मजबूर किया और 2012 में उन्होंने एक बच्चे को जन्म दिया.

पहला मामला नहीं

हाल ही में पीड़िता ने फ़ेसबुक पर अपनी बहन को खोजा जिसके बाद उनमें पुलिस के पास जाने की हिम्मत आई.

स्थानीय मीडिया में आई रिपोर्टों के मुताबिक सोमवार शाम को महिला ने पुलिस को फ़ोन करके पारिवारिक झगड़े की बात बताई गई. पुलिस के पहुँचने पर महिला ने बताया कि उन्हें दस साल पहले अग़वा किया गया था.

मंगलवार को हिरासत में लिए गए गार्सिया पर अभी औपचारिक तौर पर आरोप दर्ज नहीं किए गए हैं.

पिछले साल ओहायो के क्लीवलैंड में एक घर से अलग-अलग समय पर लापता हुईं तीन महिलाओं को छुड़ाया गया था. इन महिलाओं के अपहरणकर्ता एरियल कास्त्रो को आजीवन कारावास और एक हज़ार सालों की सज़ा सुनाई गई थी. कास्त्रो ने सितंबर 2013 में जेल में ही आत्महत्या कर ली थी.

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